अगर वह क़ुरआन के पाठ को बाधित कर देता और फिर वापस आकर उसे पूरा करता है, तो क्या वह 'अऊज़ो-बिल्लाहि मिनश्शैतानिर्रजीम' फिर से पढ़ेगाॽ
उत्तर का सारांश : जिस व्यक्ति ने किसी वैध कारण से क़ुरआन के पाठ को बाधित कर दिया, जैसे कि छींकना, या सलाम का जवाब देना, या किसी प्रश्नकर्ता का उत्तर देना ... इत्यादि, और उसका इरादा यह है कि कारण के समाप्त होने के बाद क़ुरआन के पाठ को पूरा करेगा : तो उसका पहली बार 'अऊज़ो-बिल्लाहि मिनश्शैतानिर्रजीम' पढ़ना पर्याप्त है, और उसे इसे दोहराने का आदेश नहीं दिया जाएगा, सिवाय इसके कि रुकावट लंबे समय तक हो, तो ऐसी स्थिति में वह इसे दोहराएगा।